निधीश त्यागी, साथ में राजेश चतुर्वेदी, गौरव नौड़ियाल, फ़लक अफ़शां
आज की ज़रूरी ख़बरों में, सबसे पहले बात करेंगे मोहम्मद अख़लाक़ लिंचिंग मामले की, जिस पर सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता ने कहा है कि मुक़दमा ‘मूड’ के हिसाब से नहीं चल सकता. वहीं सुप्रीम कोर्ट ने विधेयकों पर राज्यपाल या राष्ट्रपति की सहमति के लिए समय-सीमा तय करने से इनकार कर दिया है. दिल्ली पुलिस ने सुप्रीम कोर्ट में उमर ख़ालिद की ज़मानत का विरोध करते हुए कहा कि बुद्धिजीवी कार्यकर्ताओं से ज़्यादा ख़तरनाक होते हैं. बिहार में नीतीश कुमार ने दसवीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली, लेकिन नतीजों पर 1.77 लाख अतिरिक्त वोटों को लेकर चुनाव आयोग से सवाल पूछे जा रहे हैं. अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर ख़बर अच्छी नहीं है, जहाँ आठ प्रमुख क्षेत्रों में शून्य वृद्धि दर्ज की गई है. एक अमेरिकी रिपोर्ट ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान पाकिस्तान के भारत पर भारी पड़ने का दावा किया है. उधर, तलाक़-ए-हसन की प्रक्रिया पर सुप्रीम कोर्ट ने सख़्त टिप्पणी की है. और लाल क़िला विस्फोट मामले में अल-फलाह यूनिवर्सिटी के 200 कर्मचारी जांच के दायरे में आ गए हैं. अब ख़बरें विस्तार से.
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